Home Bihar जिस तरह चोर की गली से बीसीए में घुसे राकेश तिवारी बेहतर होता अपने उद्भव का प्रमाण भी दिखाते: मनोज कुमार

जिस तरह चोर की गली से बीसीए में घुसे राकेश तिवारी बेहतर होता अपने उद्भव का प्रमाण भी दिखाते: मनोज कुमार

by Khelbihar.com
  • बेहतर होता बीसीए में अपने उद्भव का प्रमाण भी दिखाते राकेश तिवारी : मनोज
  • नसीहत याद रखें शीशे के घर में रहने वाले दूसरों के घरों पर पत्थर नहीं फेंका करते

मुजफ्फरपुर 26 अप्रैल: सच कहने के लिए अखबार आईना नहीं हो सकता।क्योंकि अखबार की खबर सूचक होती है साक्ष्य नहीं। बिहार क्रिकेट संघ के बर्खास्त अध्यक्ष राकेश कुमार तिवारी द्वारा एक हिंदी दैनिक में अपने खिलाफ दिए गए बयान पर मुजफ्फरपुर जिला क्रिकेट संघ के सचिव एवं बिहार क्रिकेट संघ के ए ग्रेड अंपायर मनोज कुमार ने कहा कि बेहतर होता कि राकेश तिवारी बीसीए में अपने उद्भव का प्रमाण भी प्रस्तुत करते कि किस तरह चोर गली से घुसे और किन किन हथकंडो को अपना कर चुनाव में शामिल हुए।

उन्होंने कहा कि जिस शपथ पत्र में उन्होंने झूठ का सहारा लेते हुए बताया कि गोपालगंज जिला क्रिकेट संघ में तत्कालीन कमेटी में उपाध्यक्ष हैं वह कोरा झूठ है और यह मामला फिलहाल कोर्ट में विचाराधीन है। जानकारी हो कि गोपालगंज की कमेटी ने पहले ही न्यायालय को दिए गए शपथ पत्र में नई – पुरानी कमेटी का जो प्रारूप सौंपा था उसमें राकेश तिवारी कहीं किसी पद पर दर्शाए नहीं गए हैं ! रही बात मनोज कुमार की तो जिस चुनाव से वे चुनकर आए हैं उस दिन तक पुरानी कमेटी में मुजफ्फरपुर जिला क्रिकेट संघ का संयुक्त सचिव और वर्तमान कमेटी में सचिव पद पर मनोज कुमार की वैधता है ।

चुनाव के दिन भी मतदान केंद्र में पोलिंग एजेंट के रूप में नीरज राठौर और धर्मवीर पटवर्धन के साथ मौजूदगी प्रमाण है ।यहां तक कि राकेश तिवारी की अध्यक्षता वाली बिहार क्रिकेट संघ के नेतृत्व में आयोजित सीके नायडू अंडर-19 अंतर राज्य क्रिकेट प्रतियोगिता में इसी मनोज कुमार को कन्वेनर बनाया गया जो उनकी सहमति से ही हुई होगी मनोज कुमार बिहार पैनल ए ग्रेड के क्वालिफाइड अंपायर भी हैं बीसीए द्वारा आहूत तकरीबन 100 से अधिक मैचों में अंपायरिंग कर चुके हैं इस बात का साक्ष्य उन्हें आदरणीय अजय नारायण शर्मा, रविशंकर प्रसाद सिंह और सुबीर चन्द्र मिश्रा बेहतर ढंग से दे सकेंगे। और सचिव के रूप में मेरे हस्ताक्षर से मुजफ्फरपुर जिला क्रिकेट टीम भेजी गयी है। मैंने अंडर 19 क्रिकेट प्रतियोगिता का आयोजन कराया है! वैसे उनको खुद भी मेरे वजूद का अहसास होगा!

ऐसे में बेहतर होता राकेश तिवारी शीशे के घर में रहते हुए दूसरे के घर पर पत्थर मारने की जरूरत नहीं थी । वह पार्टी और बीसीए अध्यक्ष के रुप में क्या कर रहे हैं ? कैसा योगदान है ? लोगों से छुपा नहीं है ! आने वाला दिन उनके लिए और दुखदाई साबित हो सकता है जब वित्तीय अनियमितता से लेकर अन्य मामलों में संभव है राकेश तिवारी जेल की हवा खा रहे हो !

आपको बता दे बीते कल 25 मई को मनोज कुमार ने खेलबिहार को प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बीसीए अध्यक्ष गुट द्वारा बीसीएल कराने एवं खिलाड़ियों को और विजेता उपविजेता टीम को अभी तक भुगतान न करने सहित बीसीए नैतिक ऑफिसर को पांच लाख रूपये के भुगतान करने का आरोप लगाया था जिसके बाद बीसीए अध्यक्ष ने एक दैनिक अखबार को जबाब में कहा कि” मनोज कुमार द्वारा लगाए गए आरोप पूरी तरह से बकबास है। उन्होंने कहा है की मनोज कुमार खबरों में बने रहने के लिए यह आरोप लगा रहे है। जबकि मनोज कुमार बीसीए के किसी भी यूनिट के सचिव या किसी भी पद पर नहीं है। यदि कोई साक्ष्य है तो दे ? राह चलते किसी को कुछ बोल देने से कोई दोषी नहीं हो जाता।

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